अंबिकापुर। सरगुजा जिले के लुंड्रा ब्लॉक ग्राम पंचायत बबौली में सरकारी और श्मशान के लिए आरक्षित भूमि पर कुछ माह से अवैध कब्जे को लेकर 21 अक्टूबर 2020 को हुई बैठक के बाद ग्रामीणों ने अतिक्रमण हटाने कलेक्टर, एसडीएम व तहसील में कई आवेदन दिए, लेकिन स्थिति यथावत है। इससेे गांव के लोग आक्रोशित हैं। बताया जा रहा शिकायत के बाद एसडीएम ने वर्ष 2022 में सीमांकन कराने की खाना पूर्ति की थी। इधर अतिक्रमण का विरोध करने वालेभोले-भाले आदिवासी परिवार के 23 लोग के विरूद्ध एफआइआर थाना धौरपुर में कराया गया। ग्रामीणों का कहना है कि ग्राम पंचायत बबौली के द्वारा जाल से घेराव करके 2023 में वृक्षारोपण किया गया था। इस जमीन में लगे पौधे को यादव परिवार के लोगें द्वारा उखाड़ कर फेंक दिया गया और झाला, झोपड़ी, भैंस बांधने लगे। इनके द्वारा लगभग 600 पौधों को नष्ट करके अवैध कब्जा किया गया है। एसडीएम, तहसीलदार, आरआई, पटवारी, थाना में इसकी सूचना देने के बाद भी कार्रवाई सिफर है। बताया जा रहा है कि जगदीश यादव ने गोड़ आदिवासी समाज के श्मशान के लिए आरक्षित रकबा नंबर 240 की भूमि पर भी अवैध कब्जा कर लिया है। ग्राम पंचायत बबौली के निवासियों ने कलेक्टर और सरगुजा संभाग आयुक्त को ज्ञापन सौंपकर उक्त जमीन को कब्जामुक्त कराने और शासकीय व श्मशान की भूमि बचाने आगे आए निर्दोष लोगों के विरूद्ध दर्ज कराए गए फर्जी एफआइआर को निरस्त कराने की मांग की है। ज्ञापन सौंपने के दौरान सर्व आदिवासी समाज युवा प्रभाग के प्रदेश उपाध्यक्ष उदय पण्डो, रामनिवास टेकाम ब्लॉक अध्यक्ष, बसंत राम कोटवार, पूर्व सरपंच बोरो नागेश, सोमनाथ उरांव, रामपुकार यादव, रामनाथ उरांव, तरूण टेकाम, रामकरण गोड़, सोमारू गोड़, डुबकी नागेश, धनेश्वरी नागेश, सुशीला टेकाम, पिंटू गोंड, साबूलाल, राजमेन टेकाम, बोधन, नागेश सहित सभी ग्राम पंचायत के मुखिया और काफी संख्या में महिला-पुरुष उपस्थित थे।