किसानों को मोदी की गारण्टी के अनुरूप 3100 रूपये प्रति क्विंटल धान का भुगतान नहीं हो रहा है: आदित्येश्वर शरण सिंह देव

अम्बिकापुर/जिला पंचायत की सामान्य सभा में आज धान खरीदी के पश्चात् किसानों को किये जा रहे भुगतान के साथ ही साथ मनरेगा के लंबित भुगतान का मामला उठा है। जिला पंचायत अम्बिकापुर के सभाकक्ष में आज जिला पंचायत उपाध्यक्ष आदित्येश्वर शरण सिंहदेव ने इस बात को चर्चा में लाया और प्रशासन को जानकारी देने को कहा कि क्या भाजपा के घोषणापत्र में अनुसार किसानांे को धान खरीदी के उपरांत 3100रु प्रति क्विंटल की दर पर भुगतान हो रहा है अथवा नहीं। उन्होंने कहा कि उनकी जानकारी के अनुसार सरकार धान खरीदी के उपरांत मात्र एम0एस0पी0 का भुगतान कर रही है। जबकि भाजपा ने अपने घोषणापत्र में कहा था कि किसानों को 3100रु प्रति क्विंटल एकमुश्त भुगतान करेगी। भुगतान की जो प्रक्रिया अपनाई जा रही है, उससे यह स्पष्ट होता है कि भाजपा सरकार 3100रु प्रति क्विंटल के एकमुश्त भुगतान के अपने वायदे से पीछे हट गयी है। उन्होंने प्रशासन से प्रदेश सरकार की ओर से 3100रु0 के एकमुश्त भुगतान के लिये प्रेषित किसी दिशा निर्देश की जानकारी भी मांगी।

जिला पंचायत की सामान्य सभा की बैठक में यह तथ्य भी चर्चा में आया कि भाजपा ने अपने घोषणापत्र में वर्ष 2016-2017 के बोनस की घोषणा की भी, इसके विपरीत 2014-2015 का बोनस दिया गया है। 2014-2015 की तुलना में वर्ष 2016-2017 में पंजीकृत किसानों की संख्या ज्यादा थी। घोषणापत्र के अनुरुप वर्षाें का बोनस वितरण नहीं होने से बडी संख्या में किसान बोनस के लाभ से वंचित हो गये। जिला पंचायत सामान्य सभा की बैठक में मनरेगा के लंबित भुगतान की राशि पर भी चर्चा हुई। केन्द्र सरकार की नीतियों के कारण मनरेगा के बजट व कार्यों में काफी कटौती हो चुकी है। मनरेगा के अन्तर्गत लक्ष्य के 130 प्रतिशत का कार्य सरगुजा जिले में हो चुका है। 13 करोड़ की मजदूरी का भुगतान लंबित है। प्रशासन से कहा गया कि वो जल्द से जल्द उपरोक्त राशि के भुगतान की व्यवस्था करें।

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